EPFO Pension Hike 2025: क्या 7,500 रुपए अब मिलेगी मिनिमम पेंशन?, जाने किसने की पेंशन वृद्धि की सिफारिश

Category: epfo-pension-latest-update » by: Lalchand » Update: 2025-04-10

EPFO Pension Hike 2025, ईपीएफओ पेंशन वृद्धि 2025, ईपीएफओ न्यूनतम पेंशन वृद्धि, EPFO Pension Increase Letest Update: निजी क्षेत्र में कार्यरत कर्मचारियों के लिए कर्मचारी भविष्य निधि संगठन (EPFO) के तहत दी जाने वाली न्यूनतम पेंशन में बढ़ोतरी की मांग काफी समय से की जा रही है। इसी कड़ी में EPS-95 राष्ट्रीय आंदोलन समिति के प्रतिनिधिमंडल ने हाल ही में वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण से मुलाकात की। उन्होंने न्यूनतम पेंशन को ₹7,500 प्रति माह करने और इसमें महंगाई भत्ता (DA) जोड़ने की मांग दोहराई है।

EPFO Pension Hike 2025: क्या 7,500 रुपए अब मिलेगी मिनिमम पेंशन?, जाने किसने की पेंशन वृद्धि की सिफारिश

EPFO Pension Hike 2025: सितंबर 2014 से अब तक पेंशन में नहीं हुआ बदलाव

केंद्र सरकार ने सितंबर 2014 में EPFO के अंतर्गत आने वाली कर्मचारी पेंशन योजना (EPS) के तहत न्यूनतम पेंशन राशि ₹1,000 निर्धारित की थी। वर्तमान में भी यह राशि यथावत है। EPF स्कीम के तहत कर्मचारी अपने मूल वेतन का 12% योगदान करते हैं, जबकि नियोक्ता भी समान राशि का योगदान करता है। इसमें से 8.33% हिस्सा EPS में और शेष 3.67% प्रोविडेंट फंड में जाता है।

EPS-95 पेंशनर्स की प्रमुख मांगें

EPS-95 आंदोलन समिति ने केंद्रीय श्रम मंत्री मनसुख मंडाविया से भी मुलाकात की है। समिति ने न्यूनतम पेंशन में बढ़ोतरी के साथ-साथ सेवानिवृत्त कर्मचारियों और उनके जीवनसाथियों के लिए निःशुल्क चिकित्सा सुविधा और उच्च पेंशन लाभ के लिए आवेदन प्रक्रिया को आसान बनाने की मांग की है।

ईपीएफओ द्वारा भी यह बयान दिया गया है कि केंद्र सरकार देशभर में ईपीएफ स्कीम से जुड़े करीब 78 लाख पेंशनर्स की लंबित मांगों पर सकारात्मक रुख अपना रही है।

EPFO Pension Hike 2025: क्या 2025 में बढ़ेगी न्यूनतम पेंशन?

बजट 2025 से पहले उम्मीद की जा रही है कि सरकार EPS-95 पेंशनर्स की मांगों पर विचार कर सकती है। वित्त मंत्री द्वारा प्रतिनिधिमंडल को आश्वासन दिया गया है कि सभी मांगों की गंभीरता से समीक्षा की जाएगी। इससे यह संकेत मिलता है कि आने वाले बजट में न्यूनतम पेंशन में बदलाव संभव है।

EPFO की बैठक और ब्याज दरों पर नजर

वहीं, EPFO की एक अहम बैठक जल्द होने वाली है जिसमें ब्याज दरों में कटौती को लेकर चर्चा की जा सकती है। यदि ऐसा होता है तो यह निजी क्षेत्र के करोड़ों कर्मचारियों के लिए एक बड़ा झटका साबित हो सकता है।

EPFO Pension Hike - EPFO की अगली बैठक में क्या हो सकता है बड़ा फैसला?

EPFO के सेंट्रल बोर्ड ऑफ ट्रस्टीज (CBT) की अगली अहम बैठक 28 फरवरी 2025 को प्रस्तावित है। इस बैठक में वित्त वर्ष 2024-25 के लिए प्रोविडेंट फंड (PF) डिपॉजिट पर ब्याज दर तय की जाएगी। हालांकि, इस बार की बैठक केवल ब्याज दरों तक सीमित नहीं रहेगी, बल्कि एक और अहम मुद्दा—पेंशन बढ़ोतरी—भी चर्चा में रह सकता है।

दरअसल, लंबे समय से ईपीएफ में योगदान कर चुके पेंशनधारक और सामाजिक कार्यकर्ता मौजूदा न्यूनतम पेंशन राशि को अपर्याप्त बता रहे हैं। उनका कहना है कि बढ़ती महंगाई और मेडिकल खर्चों को देखते हुए हर महीने मिलने वाली ₹1,000 की पेंशन पर्याप्त नहीं है। इस संबंध में सरकार पर पेंशन बढ़ाने का दबाव लगातार बढ़ता जा रहा है।

अब सभी की निगाहें 28 फरवरी को होने वाली CBT बैठक पर टिकी हैं। माना जा रहा है कि इस बैठक में ब्याज दरों के साथ-साथ न्यूनतम पेंशन राशि बढ़ाने को लेकर भी कोई बड़ा और सकारात्मक फैसला लिया जा सकता है।

EPFO पर लागू हो सकती है स्थिर ब्याज दर व्यवस्था

सरकार कर्मचारी भविष्य निधि संगठन (EPFO) के खाताधारकों के लिए एक स्थिर ब्याज दर योजना लागू करने पर विचार कर रही है। इस प्रस्ताव का उद्देश्य यह है कि शेयर बाजार में उतार-चढ़ाव के बावजूद निवेशकों को एक निश्चित और सुरक्षित रिटर्न मिल सके।

इंटरेस्ट स्टेब्लाइजेशन फंड की योजना पर मंथन

'इकोनॉमिक टाइम्स' की एक रिपोर्ट के अनुसार, सरकार EPFO के लिए ‘इंटरेस्ट स्टेब्लाइजेशन रिजर्व फंड’ (Interest Stabilization Reserve Fund) बनाने की दिशा में विचार कर रही है। इस फंड का मकसद यह सुनिश्चित करना है कि निवेश प्रदर्शन में उतार-चढ़ाव होने पर भी खाताधारकों को ब्याज दर में स्थिरता मिले।

श्रम एवं रोजगार मंत्रालय फिलहाल इस प्रस्ताव की व्यवहार्यता (Feasibility) का अध्ययन कर रहा है ताकि यह तय किया जा सके कि यह योजना व्यावहारिक रूप से कितनी कारगर और लागू करने योग्य है।

CBT बैठक में कौन-कौन से बड़े फैसले लिए जा सकते हैं?

कर्मचारी भविष्य निधि संगठन (EPFO) की सर्वोच्च निर्णय लेने वाली इकाई सेंट्रल बोर्ड ऑफ ट्रस्टीज (CBT) है, जिसकी अध्यक्षता केंद्रीय श्रम एवं रोजगार मंत्री करते हैं। इस बोर्ड में नियोक्ता संघ (Employer Associations), श्रमिक संगठन (Trade Unions) और केंद्र व राज्य सरकार के वरिष्ठ अधिकारी सदस्य होते हैं।

ब्याज दर तय करने की प्रक्रिया कैसे होती है?

  • EPFO द्वारा ब्याज दर का प्रस्ताव तैयार किया जाता है।
  • यह प्रस्ताव CBT की बैठक में समीक्षा के लिए रखा जाता है।
  • CBT इस प्रस्ताव को मंजूरी देता है।
  • इसके बाद प्रस्ताव को वित्त मंत्रालय के पास अंतिम स्वीकृति के लिए भेजा जाता है।
  • मंत्रालय से मंजूरी मिलने के बाद, घोषित ब्याज दर के अनुसार राशि EPFO खाताधारकों के खाते में जमा कर दी जाती है।

CBT की बैठक में ब्याज दर के अलावा भी कई अहम नीतिगत निर्णय लिए जा सकते हैं, जो करोड़ों खाताधारकों को प्रभावित कर सकते हैं।

वित्तीय वर्ष 2023-24 के लिए EPF ब्याज दर

कर्मचारी भविष्य निधि संगठन (EPFO) ने वित्तीय वर्ष 2023-24 के लिए EPF की ब्याज दर को 8.25% निर्धारित किया है। यह दर पिछले वर्ष 2022-23 की 8.15% दर की तुलना में 0.10% अधिक है। आगामी केंद्रीय न्यासी बोर्ड (CBT) की बैठक में यह तय किया जाएगा कि इस ब्याज दर में कोई और बदलाव किया जाएगा या नहीं। यह बैठक EPFO खाताधारकों के लिए काफी महत्वपूर्ण मानी जा रही है, क्योंकि इसमें प्रोविडेंट फंड से जुड़ी कई अहम घोषणाएं की जा सकती हैं। ऐसे में सभी की निगाहें इस बैठक के फैसलों पर टिकी हुई हैं।

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